दिल्ली-NCR में झमाझम बारिश ने बदला मौसम का मिजाज, कई जगह हुआ जलभराव; जानें अन्य राज्यों का हाल
मानसून अपने अंतिम चरण में है, लेकिन बारिश का कहर अब भी जारी है. दिल्ली-एनसीआर में बुधवार-गुरुवार रात भारी बारिश के बाद मौसम विभाग ने 17 अगस्त तक येलो अलर्ट जारी किया है. ट्रैफिक पुलिस ने स्वतंत्रता दिवस से पहले कई रूट डायवर्ट किए हैं. उधर, बंगाल की खाड़ी से लेकर गुजरात-महाराष्ट्र तक सक्रिय मानसून के असर से कई राज्यों में बारिश की संभावना है.;
मानसून अब अपने आखिरी दौर में है, लेकिन देश के कई हिस्सों में बारिश का सिलसिला थमने का नाम नहीं ले रहा है. दिल्ली-एनसीआर में सुबह से ही झमाझम बारिश हो रही है. बारिश की वजह से जगह जगह जलभराव होने लगे हैं. दिल्ली के कई इलाकों में पानी जमा हो गया है. मौसम विभाग ने दिल्ली में येलो अलर्ट जारी किया है और अगले तीन दिनों तक रुक-रुक कर बारिश की संभावना जताई है.
बारिश और स्वतंत्रता दिवस की तैयारियों के चलते दिल्ली के कई इलाकों में ट्रैफिक रूट बदले गए हैं. दिल्ली ट्रैफिक पुलिस ने लोगों को एडवाइजरी जारी कर सफर से पहले मार्ग की जानकारी लेने की सलाह दी है. दिल्ली-नोएडा और गाजियाबाद को जोड़ने वाले नेशनल हाइवे-9 पर जाम की संभावना है, जबकि नोएडा सेक्टर-62 और गुरुग्राम जाने वाले रास्तों पर भी भारी ट्रैफिक की आशंका है.
बंगाल से महाराष्ट्र तक सक्रिय मानसून
मौसम विभाग के मुताबिक, बंगाल की खाड़ी में बने साइक्लोनिक सर्कुलेशन और लो-प्रेशर एरिया के कारण ट्रफ लाइन पूर्व से पश्चिम तक फैली हुई है. इसके चलते अगले 3-4 दिनों में पूर्वी, मध्य और पश्चिमी भारत में सक्रिय से प्रबल मानसून का असर दिखेगा. बंगाल से लेकर गुजरात और महाराष्ट्र तक कई जगहों पर बारिश का पूर्वानुमान है. वहीं, तेलंगाना में तीन दिनों से मूसलाधार बारिश हो रही है.
उत्तर प्रदेश और पहाड़ी राज्यों में अलर्ट
पश्चिमी उत्तर प्रदेश में भारी बारिश का हाई अलर्ट जारी किया गया है. उत्तराखंड, हिमाचल प्रदेश, कारगिल और लद्दाख में लगातार बारिश के कारण लैंडस्लाइड और बाढ़ की घटनाएं हो रही हैं. इन पहाड़ी राज्यों में कई घर और बुनियादी ढांचे को नुकसान पहुंचा है, जिससे जनजीवन अस्त-व्यस्त है.
हिमाचल में बादल फटने से तबाही
बुधवार को हिमाचल प्रदेश में पांच जगह बादल फटने की घटनाएं हुईं. श्रीखंड के भीमडवारी और नंती, किन्नौर के पूह, लाहौल के मयाड़ और कुल्लू की तीर्थन घाटी में बादल फटने से भारी तबाही मची. कई पुल और सड़कें बह गईं, पुलिस चौकियों में पानी भर गया और बाजार खाली करवाने पड़े.
कुल्लू की तीर्थन घाटी में नुकसान
तीर्थन घाटी में बाढ़ की वजह से पांच गाड़ियां और चार कॉटेज बह गए, हालांकि उस समय कॉटेज खाली थे. निरमंड की कुर्पण खड्ड उफान पर आने से बागीपुल बाजार खाली करवाना पड़ा. बंजार क्षेत्र में टिल्ला और दोगड़ा पुल भी क्षतिग्रस्त हो गए हैं. स्थानीय प्रशासन ने लोगों को सतर्क रहने की अपील की है.