'किसी की भावना को ठेस पहुंचाना नहीं था मकसद', बॉम्बे हाई कोर्ट ने लड़की को बताया निर्दोष, जानिए क्या है पूरा मामला

Bombay high court: धार्मिक अनुष्ठानों के संबंध में पोस्ट करना एक छात्रा को भारी पड़ गया. एफआईआर दर्ज होने के बाद छात्रा ने सार्वजनिक तौर पर माफी भी मांगी. इसके साथ ही कोर्ट ने भी मामले को खारिज कर दिया. कोर्ट ने कहा कि छात्रा ने ये पोस्ट किसी को ठेस पहुंचाने के लिए किया है.;

Bombay high court
Edited By :  सचिन सिंह
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Bombay high court: कभी-कभी हमारा मकसद किसी की भावना को ठेस पहुंचाना नहीं होता है, लेकिन अनजाने में हम कुछ ऐसा कर जाते हैं, जिससे लोगों को आहत पहुंच जाती है. हालांकि, इसे सुधारा जा सकता है, क्योंकि कहा भी जाता है कि अनजाने में हुई गलती माफी की हकदार होती है. एक ऐसा ही मामला बॉम्बे हाई कोर्ट पहुंच गया, जिसमें कोर्ट ने धार्मिक भावना को ठेस पहुंचाने वाली लड़की को निर्दोष बताते हुए उस पर दर्ज FIR को खारिज कर दिया.

बॉम्बे हाई कोर्ट ने मापुसा कॉलेज की छात्रा के खिलाफ दर्ज एफआईआर को खारिज कर दिया है. मामले की सुनवाई करते हुए कोर्ट ने पाया कि लड़की ने जो ऑनलाइन टिप्पणी की है, इसमें उसका किसी समुदाय की धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुंचाने का कोई जानबूझकर या दुर्भावनापूर्ण इरादा नहीं था.

 धार्मिक अनुष्ठानों को लेकर किया था पोस्ट

धार्मिक अनुष्ठानों के संबंध में सोशल मीडिया पर अपमानजनक टिप्पणियां पोस्ट करने के आरोप में मई में उसके खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई थी, जिससे धार्मिक भावनाएं आहत हुई थीं. 18 वर्षीय छात्रा ने ऑनलाइन एक पोस्ट/रील देखी, जिसमें धुंध की एक विशाल दीवार में धुआं निकलता हुआ दिखाई दे रहा था और साथ ही भीड़ के सामने एक लौ भी जलता दिख रहा था.

छात्रा ने जब ऐसा वीडियो देखा तो उसे पर्यावरण के लिए ये ठीक नहीं लगा, तो उसने अपनी इंस्टाग्राम स्टोरी के ज़रिए रील को फिर से पोस्ट किया, जिसमें उसने तस्वीरों में दिख रहे प्रदूषण के बारे में चिंता जाहिर की. उन्होंने पोस्ट के कैप्शन में लिखा, 'मुझे नहीं पता कि आप इसे संस्कृति या परंपरा कैसे कह सकते हैं और किसी की प्रशंसा कैसे कर सकते हैं? जबकि आप इस तरह से पर्यावरण को नुकसान पहुंचा रहे हैं.'

विरोध के बाद मांगी था माफी

छात्रा की पोस्ट ने बिचोलिम के अमित गांवकर ने इसे लेकर शिकायत की और मापुसा पुलिस स्टेशन में एफआईआर दर्ज कराई. एफ़आईआर दर्ज होने के बाद छात्रा ने तुरंत अपने इंस्टाग्राम पर सार्वजनिक तौर पर माफी भी मांगी. उन्होंने कहा था कि मैं ईमानदारी से माफ़ी मांगती हूं. मेरी ओर से किसी की धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुंचाने या चोट पहुंचाने का कोई इरादा नहीं था. 

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