ईरान में फिर बरसे इज़रायली बम! मिसाइल ठिकाने तबाह, तेहरान बोला-अमेरिका ने पीठ में छुरा घोंपा; पढ़ें Top Updates
इज़रायल-ईरान जंग नौवें दिन में प्रवेश कर चुकी है और अब तक 600 से अधिक लोगों की मौत हो चुकी है. इज़रायली सेनाध्यक्ष ने लंबे युद्ध की चेतावनी दी है, वहीं डोनाल्ड ट्रंप ने कहा कि अगर ईरान नहीं माना तो दो हफ्तों में अमेरिका एयरस्ट्राइक कर सकता है। इस बीच भारत का ऑपरेशन सिंधु भी तेज़ी से जारी है.

13 जून 2025 को शुरू हुई ईरान-इज़रायल जंग अब अपने नौवें दिन में पहुंच चुकी है और हालात बेहद खतरनाक होते जा रहे हैं. एक ओर इज़रायल लगातार ईरान के न्यूक्लियर फैसिलिटीज, मिसाइल बेस और मिलिट्री जनरल्स को टारगेट कर रहा है, वहीं दूसरी ओर ईरान ने जवाबी हमलों में क्लस्टर बम और मिसाइलों का सहारा लेकर इज़रायल के अस्पतालों, रिसर्च सेंटर्स और सिविलियन इलाकों को भी निशाना बनाया है. इस पूरे संघर्ष में अब तक ईरान में 600 से ज्यादा लोगों की मौत हो चुकी है जबकि 3,000 से अधिक लोग घायल बताए जा रहे हैं. वहीं इज़रायल में भी 25 से ज्यादा नागरिकों की मौत हो चुकी है.
इज़रायल ने ईरान के खिलाफ अपनी सैन्य कार्रवाई और तेज़ कर दी है. तेहरान, रश्त और कैस्पियन तट के कई इलाकों में मिसाइल भंडारण और लॉन्चिंग इंफ्रास्ट्रक्चर को निशाना बनाकर बड़े धमाके किए गए। इस बीच अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप इस बात पर मंथन कर रहे हैं कि क्या अमेरिका को इस युद्ध में खुलकर शामिल होना चाहिए या नहीं. ईरान के विदेश मंत्री अब्बास अराघची ने इज़रायल के इन हमलों को "कूटनीति से विश्वासघात" बताया है और कहा कि जब तक इज़रायल अपनी सैन्य कार्रवाई नहीं रोकता, ईरान किसी भी परमाणु समझौते पर बातचीत के लिए तैयार नहीं है.
वहीं ट्रंप ने ईरान को दो हफ्तों का अल्टीमेटम देते हुए कहा कि या तो अब ईरान सीधे अमेरिका से सार्थक बातचीत करे या फिर परिणाम भुगतने को तैयार रहे। उन्होंने संकेत दिया है कि यदि बात नहीं बनी तो अमेरिका खुद सैन्य कार्रवाई कर सकता है. इस संघर्ष के बीच, इज़रायल के शहरों पर भी मिसाइल हमले जारी हैं. बीरशेबा और होलोन में रिहायशी इलाकों में मिसाइल के टुकड़ों से आग लग गई। अब तक ईरान में मरने वालों की संख्या 650 के पार पहुंच चुकी है, जबकि इज़रायल में दर्जनों लोग अपनी जान गंवा चुके हैं.
इस बीच अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने दावा किया है कि “ईरान अब अमेरिका से बात करना चाहता है, यूरोप से नहीं. ट्रंप ने ईरान को 2 हफ्ते की चेतावनी दी है. वर्ना एयरस्ट्राइक तय है. वहीं भारत ने अपने नागरिकों को निकालने के लिए 'ऑपरेशन सिंधु' शुरू कर दिया है, जिसके तहत 290 छात्रों को पहली फ्लाइट में दिल्ली लाया गया. दुनिया इस युद्ध को रोकने की कोशिश कर रही है, लेकिन फिलहाल युद्धविराम का कोई संकेत नहीं। जंग और कूटनीति की यह टक्कर अब और भी गंभीर मोड़ ले चुकी है.
- इज़रायली सेना प्रमुख ऐयाल ज़मीर ने कहा, "यह हमारे इतिहास का सबसे जटिल और लंबा सैन्य अभियान होगा.
- इज़रायल ने 13 जून को ईरान के न्यूक्लियर बेस, मिसाइल ठिकानों और सैन्य अफसरों पर ताबड़तोड़ हमले शुरू किए.
- ईरान ने सोरोका अस्पताल, वीज़मैन साइंस इंस्टिट्यूट और बीयरशेबा शहर पर मिसाइलों की बारिश कर दी.
- ‘टाइम्स ऑफ इज़रायल’ के मुताबिक बीयरशेबा पर क्लस्टर बम गिराए गए, जिसमें कई सिविलियन ज़ख्मी हुए.
- अमेरिकी रिपोर्ट्स के अनुसार, ईरान में अब तक 657 लोग मारे जा चुके हैं, जिनमें 263 आम नागरिक शामिल हैं।
- अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने कहा, “अगर दो हफ्ते में बात नहीं हुई तो एयरस्ट्राइक करेंगे.
- ईरान ने साफ किया: “जब तक इज़रायल की आक्रामकता नहीं रुकेगी, तब तक अमेरिका से बातचीत नहीं होगी.
- ईरान से भारतीय नागरिकों को सुरक्षित निकालने के लिए भारत ने ऑपरेशन सिंधु की शुरुआत कर दी है.
- माशहद से पहली फ्लाइट 290 छात्रों को लेकर दिल्ली पहुंची; दो और फ्लाइट शनिवार को आने वाली हैं.
- ब्रिटेन, फ्रांस, जर्मनी और अमेरिका जैसे देश युद्ध विराम के लिए एक्टिव हो गए हैं, लेकिन तनाव कम होने के कोई संकेत नहीं.