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बिहार की राजनीति में नई पार्टी! पूर्व केंद्रीय मंत्री आरसीपी सिंह 2025 विधानसभा चुनाव में देंगे कड़ी टक्कर  

पूर्व केंद्रीय मंत्री आरसीपी सिंह सात सालों तक नीतीश कुमार के निजी सचिव रहे, जब नीतीश कुमार केंद्रीय रेल और कृषि मंत्री थे. अब वह बिहार की राजनीति में अपनी नई पार्टी लॉन्च करने जा रहे हैं.

बिहार की राजनीति में नई पार्टी! पूर्व केंद्रीय मंत्री आरसीपी सिंह 2025 विधानसभा चुनाव में देंगे कड़ी टक्कर  
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RCP Singh launch new political party
( Image Source:  ANI )
सचिन सिंह
Edited By: सचिन सिंह

Updated on: 31 Oct 2024 1:57 PM IST

RCP Singh launch new political party: बिहार की बदलती राजनीति के बीच एक और नई पार्टी की एंट्री होने जा रही है. पूर्व केंद्रीय मंत्री रामचंद्र प्रसाद सिंह गुरुवार को एक नई राजनीतिक पार्टी का गठन करने जा रहे हैं. यह दिन भारत के पहले गृह मंत्री सरदार वल्लभभाई पटेल की जयंती और दिवाली के दिन पड़ रहा है. उनकी पार्टी का नाम आप सबकी आवाज़(आसा) है.

आरसीपी सिंह ने कहा कि नई पार्टी बिहार के लोगों को एक नया राजनीतिक विकल्प का मौका देगी और इसका लक्ष्य बिहार, झारखंड, उत्तर प्रदेश और दिल्ली के प्रमुख लोगों से समर्थन प्राप्त करना होगा. इस दौरान जेडी(यू) और बाद में बीजेपी में उनके अनुभवों ने उनकी कार्यशैली में अंतर का भी खुलासा किया, जिसके कारण अंत में उन्हें एक स्वतंत्र राजनीतिक संगठन बनाने के लिए प्रेरित होना पड़ा.

2025 के विधानसभा चुनाव में होगा टकराव

आरसीपी सिंह ने ये फैसला 2025 के बिहार विधानसभा चुनावों से पहले लिया है. पार्टी लॉन्च राज्य की राजनीति पर महत्वपूर्ण प्रभाव डालने की ओर इशारा कर रहा है. पूर्व आईएएस अधिकारी सिंह ने 2010 में राजनीति में प्रवेश किया और जल्द ही जेडी(यू) में एक प्रमुख नेता बन गए, जो बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के बाद दूसरे स्थान पर थे.

जेडी(यू) के भीतर उनकी राजनीतिक स्थिति 2021 में बदलनी शुरू हुई, जब उन्होंने पीएम मोदी कैबिनेट में केंद्रीय इस्पात मंत्री की भूमिका मिली. अपने कार्यकाल के दौरान उनके कुछ फैसले कथित तौर पर नीतीश कुमार की अपेक्षाओं को पूरा नहीं करते थे.

कौन हैं आरसीपी सिंह?

आरसीपी सिंह की शिक्षा यात्रा बिहार के नालंदा में उनके पैतृक गांव से शुरू हुई, जहां उन्होंने अपनी प्रारंभिक स्कूली शिक्षा पूरी की. इसके बाद वे पटना चले गए, जहां उन्होंने प्रतिष्ठित पटना साइंस कॉलेज से 12वीं की शिक्षा पूरी की. उन्होंने 1979 में पटना कॉलेज से इतिहास में स्नातक की डिग्री हासिल की और 1982 में जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय (JNU) से अंतर्राष्ट्रीय संबंधों में मास्टर डिग्री हासिल की. ​​इस शैक्षणिक नींव ने एक IAS अधिकारी और एक प्रमुख राजनीतिक व्यक्ति के रूप में काम किया है.

आरसीपी सिंह का कैरियर भारतीय राजस्व सेवा (आईआरएस) में चयन के साथ शुरू हुआ, लेकिन 1984 में आईएएस अधिकारी के रूप में चयनित होने के बाद उन्होंने इस्तीफा दे दिया. उत्तर प्रदेश कैडर में नियुक्त होने के बाद उन्होंने एसडीएम, डीएम और कई सचिवीय भूमिकाओं सहित कई महत्वपूर्ण पदों पर काम किया. केंद्रीय प्रतिनियुक्ति के दौरान वे नीतीश कुमार के साथ घनिष्ठ रूप से जुड़े, जिसने बाद में उनकी राजनीतिक दिशा को आकार दिया.

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