Dev Deepawali 2024: दिवाली के 15 दिन बाद देवताएं मानते हैं दिव्य दीपोत्सव, जानें इससे जुड़ी रोचक बातें
हर साल कार्तिक मास की पूर्णिमा को देव दीपावली का पावन पर्व मनाया जाता है. जहां अमावस्या पर मनुष्य दीपावली का त्योहार मनाते हैं, वहीं ठीक पंद्रह दिन बाद देवता अपनी दीपावली का उत्सव मनाते हैं. कार्तिक पूर्णिमा का यह दिन देवताओं के लिए सबसे विशेष माना जाता है क्योंकि इसी दिन देवलोक में दीपोत्सव मनाया जाता है.
Dev Deepawali 2024: हर साल कार्तिक मास की पूर्णिमा को देव दीपावली का पावन पर्व मनाया जाता है. जहां अमावस्या पर मनुष्य दीपावली का त्योहार मनाते हैं, वहीं ठीक पंद्रह दिन बाद देवता अपनी दीपावली का उत्सव मनाते हैं. कार्तिक पूर्णिमा का यह दिन देवताओं के लिए सबसे विशेष माना जाता है क्योंकि इसी दिन देवलोक में दीपोत्सव मनाया जाता है. देव दीपावली को त्रिपुरारी पूर्णिमा भी कहा जाता है. मान्यता है कि इस दिन भगवान शिव ने त्रिपुरासुर नामक तीन राक्षसों का वध कर त्रिलोक को आतंक से मुक्त किया था. इस खुशी में देवताओं ने दीप जलाकर आनंदोत्सव मनाया था.
व्रत, पूजा और तुलसी विवाह की परंपरा
इस दिन घर-घर में दीप जलाने की परंपरा है. मंदिरों के साथ-साथ घरों के आंगनों में तुलसी के पास दीप प्रज्वलित किए जाते हैं. धार्मिक मान्यता के अनुसार, देव दीपावली पर सच्चे मन से की गई प्रार्थना का विशेष फल मिलता है. साथ ही, इस दिन तुलसी विवाह की भी रस्म पूरी की जाती है, जिसे गृहस्थ जीवन में सौभाग्य का प्रतीक माना जाता है. मान्यता है कि इस दिन व्रत करने और पूजा-अर्चना के बाद ब्राह्मणों को भोजन, वस्त्र और दक्षिणा देने से सुख-समृद्धि आती है.
चांदनी रात और दीपों की जगमगाहट
देव दीपावली की रात में पूर्ण चंद्रमा की रोशनी और जलते दीपों का संयोजन वातावरण को दिव्यता से भर देता है. खासकर काशी में इस पर्व का भव्य आयोजन देखने लायक होता है. लाखों दीपों से सजे घाटों की सुंदरता अद्वितीय होती है, मानो आकाश की तारे गंगा की लहरों पर उतर आए हों. कार्तिक मास में आकाशदीप जलाने की परंपरा भी यहीं से जुड़ी है, जो अंधकार से उजाले की ओर बढ़ने का प्रतीक है.
पौराणिक कथाएं और धार्मिक महत्व
कहा जाता है कि इस दिन भगवान विष्णु वामन अवतार के रूप में बलि के पास से लौटकर बैकुंठ वापस आए थे, जिसे देवताओं ने दीप जलाकर मनाया. इस पर्व के माध्यम से हम सभी अपनी मनोकामनाओं के पूर्ण होने और जीवन में सकारात्मकता के संचार की कामना करते हैं.
डिस्क्लेमर: यह लेख सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. हम इसके सही या गलत होने की पुष्टि नहीं करते.





