दिखावा या राजनीतिक चाल? भारत से तनाव के बीच क्यों मंदिर- मंदिर भाग रहे ट्रूडो? शेयर किया वीडियो
भारत और कनाडा के बीच खालिस्तानी अलगाववादी हरदीप सिंह निज्जर की हत्या के मामले में राजनयिक तनाव अपने चरम पर है. इस बीच ट्रूडो ने हाल ही में अपने दिवाली समारोह की झलक शेयर कीं. दिवाली के मौके पर, ट्रूडो ने एक सार्वजनिक संदेश में कहा कि यह पर्व अंधकार पर प्रकाश की विजय का प्रतीक है.;
कनाडा के प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो ने हाल ही में अपने दिवाली समारोह की झलक शेयर कीं, जहां उन्होंने कनाडा में हिंदू समुदाय के लोगों के साथ मुलाकात की. यह आयोजन उस समय हुआ जब भारत और कनाडा के बीच खालिस्तानी अलगाववादी हरदीप सिंह निज्जर की हत्या के मामले में राजनयिक तनाव अपने चरम पर है.
ट्रूडो ने अपने सोशल मीडिया अकाउंट पर एक वीडियो शेयर किया, 'ट्रूडो ने पिछले कुछ महीनों में तीन अलग-अलग हिंदू मंदिरों की यात्रा के दौरान उन्हें बांधे गए कलावा दिखाए. उन्होंने कहा, "वे सौभाग्य हैं... हाँ, सुरक्षा... मैं उन्हें तब तक नहीं उतारूँगा जब तक वे गिर न जाएँ.'
प्रधानमंत्री ट्रूडो का दिवाली संदेश: "अंधकार पर प्रकाश की जीत की जरूरत"
दिवाली के मौके पर, ट्रूडो ने एक सार्वजनिक संदेश में कहा कि यह पर्व अंधकार पर प्रकाश की विजय का प्रतीक है और वर्तमान समय में यह संदेश विशेष रूप से जरूरी है. समारोह के दौरान, उन्होंने कनाडा में रहने वाले हिंदू समुदाय को 'हैप्पी दिवाली' की शुभकामनाएं दी और समुदाय के सदस्यों के साथ दीया जलाते और मिठाई बांटते हुए नजर आए.
ग्लोबल न्यूज की रिपोर्ट के मुताबिक, यह घटना 52 वर्षीय कनाडाई प्रधानमंत्री द्वारा दिवाली मनाते हुए दिए गए अपने भाषण के एक दिन बाद हुई है, जिसमें उन्होंने कहा था कि रोशनी का त्योहार “अंधकार पर प्रकाश” का प्रतीक है और “हमें अभी अपने जीवन में इसकी और अधिक जरूरत है”.
'हम हिंदू कनाडाई समुदाय के साथ खड़े रहेंगे': ट्रूडो
ट्रूडो ने अपने दिवाली संदेश में हिंदू समुदाय को सुरक्षा और सहयोग का आश्वासन दिया, खासकर उस समय जब कनाडा में खालिस्तानी चरमपंथ बढ़ रहा है और इससे समुदाय में असुरक्षा की भावना पैदा हो रही है. उन्होंने कहा, 'हम हमेशा हिंदू कनाडाई लोगों की सुरक्षा और सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए उनके साथ खड़े रहेंगे ताकि वे स्वतंत्रता और गर्व के साथ अपने धर्म का पालन कर सकें.'
भारत-कनाडा के बीच राजनयिक संबंधों में तनाव
भारत और कनाडा के बीच राजनयिक संबंधों में खिंचाव तब शुरू हुआ जब ट्रूडो ने भारत पर खालिस्तानी अलगाववादी हरदीप सिंह निज्जर की हत्या में शामिल होने का आरोप लगाया. भारत ने इन आरोपों को निराधार और "बेतुका" बताया है. दोनों देशों के बीच तनाव और बढ़ गया जब कनाडा के अधिकारियों ने भारतीय गृह मंत्री अमित शाह पर सिखों को निशाना बनाने का आरोप लगाते हुए मीडिया में लीक किए गए विवरणों की पुष्टि की.
इस मामले पर भारतीय विदेश मंत्रालय ने कड़ी प्रतिक्रिया दी और कनाडा को "भारत को बदनाम करने के प्रयास" की रणनीति अपनाने का आरोप लगाया. भारत ने कनाडा से अपने उच्चायुक्त और अन्य राजनयिकों को वापस बुला लिया, जिससे दोनों देशों के बीच रिश्ते और अधिक तनावपूर्ण हो गए हैं.