दिल्ली में लापरवाही ने ली एक और जान, सीवर के पानी में डूबकर बच्ची की दुखद मौत, शोक में परिवार
दिल्ली के उत्तर-पश्चिम दिल्ली के रोहिणी के बेगमपुर इलाके में एक बच्ची की मौत हो गई क्योंकि वह सीवर के पानी में गीर गई. इससे पहले भी एक ऐसा ही हादसा हुआ था, जहां पर जल बोर्ड के अधिकारियों की लापरवाही के वजह से एक बच्चा गड्ढे में गिरकर मौत का शिकार हो गया था. यह घटना इस बात की याद दिलाती है कि अधिकारियों की लापरवाही और सही सुरक्षा उपायों की कमी के वजह से इस तरह की दुर्घटनाएं हो रही हैं.;
राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली के रोहिणी क्षेत्र में एक दिल दहला देने वाली घटना सामने आई, जिसमें एक तीन साल की बच्ची सीवर के पानी से भरे गड्ढे में गिरकर दुनिया से बहुत दूर चली गई. इस घटना ने न केवल परिवार को गहरे शोक में डुबो दिया है, बल्कि इससे दिल्ली में अधिकारियों की लापरवाही और जन सुरक्षा की गंभीर समस्या भी उजागर हुई है. परिवार ने आरोप लगाया है कि यह दर्दनाक हादसा सरकारी अधिकारियों की लापरवाही और सुरक्षा उपायों की कमी के वजह से हुआ है.
रविवार सुबह, उत्तर-पश्चिम दिल्ली के रोहिणी के बेगमपुर इलाके में एक खाली भूखंड में सीवर का पानी भरा हुआ था. खेलते समय बच्ची गड्ढे में गिर गई और डूब गई. परिवार ने शुरुआत में बच्ची के किडनैप होने की आशंका जताई, क्योंकि वे सोच रहे थे कि बच्ची बाहर खेल रही थी और अचानक गायब हो गई. बाद में यह जानकारी मिली कि बच्ची गड्ढे में गिर गई थी. आस-पास के लोगों की मदद से बच्ची को पानी से बाहर निकाला गया.
परिवार का आरोप और शोक
बच्ची को तुरंत रोहिणी के आम्बेडकर अस्पताल ले गए, जहां डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया. परिवार के सदस्यों ने बच्ची के लिए न्याय की मांग कि और दावा किया कि जलभराव को रोकने में विफल रहे अधिकारियों की वजह से उनकी बच्ची की मौत हुई है.
दिल्ली में यह घटना ऐसे समय में हुई है, जब दिल्ली हाईकोर्ट ने दिल्ली जल बोर्ड को 2016 में एक बच्चे की मौत के मामले में 22 लाख रुपये मुआवजा देने का आदेश दिया था. उस मामले में भी, जल बोर्ड के अधिकारियों की लापरवाही के वजह से एक बच्चा गड्ढे में गिरकर मौत का शिकार हो गया था. अदालत ने साफ कहा था कि जल बोर्ड की जिम्मेदारी थी कि वह गड्ढे वाले इलाके को सुरक्षित बनाए और जलभराव से बचाव के उपाय करे.
भविष्य में सुरक्षा उपायों की आवश्यकता
यह घटना इस बात की याद दिलाती है कि पब्लिक प्लेस पर बच्चों के लिए सेफ वातावरण हो ये बेहद जरूरी है. अधिकारियों की लापरवाही और सही सुरक्षा उपायों की कमी के वजह से इस तरह की दुर्घटनाएं हो रही हैं. अब यह जरूरी हो गया है कि ऐसे खाली भूखंडों और गड्ढों के आसपास सुरक्षा इंतजाम किए जाएं ताकि भविष्य में ऐसी दर्दनाक घटनाओं से बचा जा सके.