Shubham Sharma कौन? Mr. India का खिताब जीतने के बाद Mr. Supranational 2025 में इंडिया को करेंगे रिप्रेजेंट
सेना में भर्ती की विफलता ने शुभम को निराश नहीं किया बल्कि, उन्होंने अपने कॉन्फिडेंस और व्यक्तित्व को तराशा और पहले ही प्रयास में मिस्टर इंडिया 2024 का खिताब अपने नाम किया. अब वह मिस्टर सुपरनैशनल जैसे इंटरनेशनल मंच पर भारत के लिए खिताब जीतने का सपना देख रहे हैं.;
शुभम शर्मा, जो इस महीने के अंत में मिस्टर सुपरनैशनल 2025 प्रतियोगिता में भारत को रिप्रेजेंट करने जा रहे हैं, अपनी इस यात्रा को “एक सम्मान और प्रिविलेज मानते हैं. एक साधारण युवक से नेशनल रिप्रेजेन्टेटिव बनने तक की उनकी कहानी न केवल इंस्पिरेशनल है, बल्कि यह दिखाती है कि जीवन में कभी-कभी असफलता भी नए रास्ते खोल सकती है.
शुभम मूल रूप से भारतीय सेना में शामिल होकर देश की सेवा करना चाहते थे. वे बताते हैं, 'मैंने 2023 में सेना में भर्ती होने के लिए पूरी तैयारी की थी, लेकिन दुर्भाग्यवश परीक्षा में असफल रहा.' इस असफलता के बाद भी उन्होंने हार नहीं मानी, बल्कि अपने जीवन में एक नया रास्ता चुना. 'मिस्टर इंडिया' का खिताब जीतकर भारत का रिप्रेजेंट करना मेरे लिए वैसा ही है, जैसे मैंने आधा सपना पूरा कर लिया हो.'
मिस्टर इंडिया से मिस्टर सुपरनैशनल तक
सेना में भर्ती की विफलता ने शुभम को निराश नहीं किया बल्कि, उन्होंने अपने कॉन्फिडेंस और व्यक्तित्व को तराशा और पहले ही प्रयास में मिस्टर इंडिया 2024 का खिताब अपने नाम किया. अब वह मिस्टर सुपरनैशनल जैसे इंटरनेशनल मंच पर भारत के लिए खिताब जीतने का सपना देख रहे हैं. एक ऐसा सपना जो न केवल उनका लक्ष्य है, बल्कि पूरे देश की उम्मीद भी. शुभम ने पूरे कॉन्फिडेंस के साथ कहा, 'अब मेरा मुख्य मिशन भारत के लिए खिताब जीतना है. हमने कई सालों से यह खिताब नहीं जीता है. मुझे पूरा यकीन है कि इस साल हम इतिहास दोहराएंगे.'
'किकस्टार्टिंग ड्रीम्स' से जुड़ी पहल
शुभम केवल मंच पर दिखने वाले एक मॉडल या कंटेस्टेंट नहीं हैं, बल्कि वह अपनी पॉपुलैरिटी और मंच का इस्तेमाल समाज में बदलाव लाने के लिए करना चाहते हैं. मिस्टर सुपरनैशनल की 'ग्राउंड प्रोजेक्ट' पहल के तहत उन्होंने 'किकस्टार्टिंग ड्रीम्स' नाम की एक ज़मीनी प्रोजेक्ट की शुरुआत की है. इस पहल के ज़रिए शुभम वंचित और ज़रूरतमंद बच्चों को खेलों तक पहुँच देने का सपना देख रहे हैं.' वह कहते है, 'मैं चाहता हूँ कि जिन बच्चों को आज खेलों की सुविधा नहीं मिलती, उन्हें एक ऐसा मंच मिले जहाँ वे अपने टैलेंट को पहचानें और उसे निखार सकें. एक फिटनेस ट्रेनर होने के नाते मैं हेल्थ और फिटनेस की अवेयर भी फैलाना चाहता हूं.'
भारत का ट्रैक रिकॉर्ड और शुभम की उम्मीदें
भारत का मिस्टर सुपरनेशनल कॉम्पिटशन में परफॉरमेंस उतार-चढ़ाव भरा रहा है. 2018 में प्रथमेश मौलिंगकर ने भारत के लिए यह प्रतिष्ठित खिताब जीता था, जो आज भी यादगार पल माना जाता है. लेकिन पिछले दो एडिशन्स में भारत कोई खास सफलता नहीं हासिल कर सका. शुभम इस रुकावट को चुनौती के रूप में देखते हैं और बदलाव लाने के लिए पूरी तरह तैयार हैं. शुभम बताते हैं कि वह बचपन में काफी इंट्रोवर्ट स्वभाव के थे. लोगों से बातचीत करने में झिझक होती थी और मंच पर जाने की कल्पना भी नहीं की थी. लेकिन मिस्टर इंडिया का खिताब जीतने के बाद उनके कॉन्फिडेंस को नया बल मिला. अब वे खुलकर अपनी बात रखते हैं और लोगों से जुड़ने में सहज महसूस करते हैं.