भारत के आसमान पर राज करेगा ‘Sky Sting’: इज़राइल ने दिया सबसे घातक हथियार का ऑफर, चीन-पाक को क्‍यों है डरने की जरूरत?

इज़राइल ने भारत को अपनी नई Sky Sting लंबी दूरी की एयर-टू-एयर मिसाइल की पेशकश की है, जिसकी मारक क्षमता 250 किमी तक है. यह मिसाइल भारत के तेजस Mk1A और SU-30MKI जैसे लड़ाकू विमानों में लगाई जा सकती है. Sky Sting तकनीक के मामले में चीन की PL-15 से कहीं आगे है और दुश्मन की इलेक्ट्रॉनिक जैमिंग को भी निष्क्रिय कर सकती है. इसके शामिल होने से भारत की वायुसेना की हवाई बढ़त और सीमा सुरक्षा कई गुना मजबूत होगी.;

( Image Source:  X/@TheLegateIN )
Edited By :  प्रवीण सिंह
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इज़राइल ने भारत को अपनी नई पीढ़ी की Sky Sting Beyond Visual Range Air-to-Air Missile (BVRAAM) की पेशकश की है. यह एक छठी पीढ़ी (6th Generation) की मिसाइल है जो भारत के तेजस Mk1A और सुखोई-30MKI जैसे लड़ाकू विमानों की ताकत कई गुना बढ़ा सकती है.

250 किलोमीटर की मारक क्षमता और इलेक्ट्रॉनिक जैमिंग से पूरी तरह सुरक्षित तकनीक के साथ यह मिसाइल पाकिस्तान की चीनी PL-15 मिसाइल से कहीं आगे है. यह डील भारत–इज़राइल रक्षा साझेदारी के नए अध्याय की शुरुआत मानी जा रही है, जिससे भारत की वायुसेना को लंबी दूरी की हवाई जंग में निर्णायक बढ़त मिलेगी.

भारत को इज़राइल का सबसे घातक हथियार ऑफर

भारत की वायुशक्ति को नई ऊंचाई देने के लिए इज़राइल की रक्षा कंपनी राफेल (Rafael Advanced Defense Systems) ने भारत को अपनी नवीनतम Sky Sting मिसाइल ऑफर की है. यह मिसाइल Beyond Visual Range (BVR) श्रेणी की है - यानी दुश्मन विमान को बिना देखे 250 किलोमीटर दूर से ही मार गिराने की क्षमता रखती है. यह प्रस्ताव जुलाई 2025 में तेल अवीव में हुई उच्चस्तरीय रक्षा वार्ता के दौरान दिया गया था. राफेल ने बताया कि यह मिसाइल न केवल तेजस Mk1A बल्कि SU-30MKI, मिराज-2000 और TEDBF (Twin Engine Deck-Based Fighter) जैसे विमानों के साथ भी जोड़ी जा सकती है_

अगर भारत इसे मंजूरी देता है तो यह मिसाइल भारत को दुनिया के उन चुनिंदा देशों में शामिल कर देगी जो 6th जनरेशन एयर-टू-एयर मिसाइल का इस्तेमाल कर रहे हैं और यह चीन की PL-15 से भी ज्यादा आधुनिक मानी जा रही है.

क्या है Sky Sting मिसाइल की ताकत?

रिपोर्ट्स के मुताबिक, Sky Sting में तीन-स्टेज रॉकेट मोटर लगा है जो इसे बेहद तेज और लंबी दूरी तक उड़ने की क्षमता देता है.

इसकी तुलना करें तो:

  • चीन की PL-15E (एक्सपोर्ट वर्जन) – 145 किमी
  • चीन की PL-15 (डोमेस्टिक वर्जन) – 200–300 किमी
  • जबकि इज़राइल की Sky Sting – 250 किमी

यह मिसाइल न केवल ज्यादा दूर तक मार करती है, बल्कि किनेमैटिक एनर्जी और एयरोडायनामिक लिफ्ट की मदद से हवा में बेहद सटीक और लंबे समय तक टिकती है. इसका मतलब है कि भारतीय पायलट अब दुश्मन को देखने से पहले ही गिरा सकेंगे.

स्मार्ट, एडवांस और जामिंग-प्रूफ तकनीक

Sky Sting सिर्फ रेंज में नहीं, बल्कि तकनीक में भी सबसे आगे है. इसमें बाय-डायरेक्शनल डाटा लिंक है, जिससे पायलट उड़ान के दौरान भी मिसाइल को नए टारगेट की जानकारी दे सकता है. इसका स्मार्ट एक्टिव रडार सीकर दुश्मन की इलेक्ट्रॉनिक जैमिंग को फेल कर देता है. इतना ही नहीं, अगर दुश्मन मिसाइल को जाम करने की कोशिश करता है तो Sky Sting खुद उसी जैमिंग सिग्नल को ट्रेस करके सीधे स्रोत पर वार कर सकती है. इसकी ECCM (Electronic Counter-Countermeasures) क्षमता इसे सबसे सुरक्षित और घातक हथियारों में से एक बनाती है - जो चीन या पाकिस्तान जैसे देशों की इलेक्ट्रॉनिक वारफेयर रणनीतियों को पूरी तरह निष्क्रिय कर सकती है.

तेजस और SU-30MKI में इंटीग्रेशन की तैयारी

राफेल ने बताया कि Sky Sting को भारत के स्वदेशी तेजस Mk1A में लगाना आसान रहेगा क्योंकि इसमें पहले से ELM-2052 AESA रडार और Digital Flight Control Computer (DFCC) लगा है. इंटीग्रेशन का काम करीब 18 महीने में पूरा होने की उम्मीद है, जिसके बाद कुछ लाइव फायर ट्रायल्स के जरिए इसे मंजूरी मिल जाएगी. पहले चरण में लगभग 200–300 मिसाइलें 2026 के मध्य तक भारत को मिल सकती हैं. कैप्टिव फ्लाइट ट्रायल्स छह महीने में पूरे होने की संभावना है और 2027 तक यह ऑपरेशनल हो जाएगी.

‘अस्त्र’ प्रोजेक्ट में देरी की भरपाई

भारत की स्वदेशी Astra Mk-III मिसाइल फिलहाल विकास के अंतिम चरण में है, लेकिन इसमें देरी हो रही है. ऐसे में Sky Sting एक रणनीतिक ब्रिज टेक्नोलॉजी साबित हो सकती है जिससे भारत अपनी हवाई बढ़त बनाए रख सके. इस मिसाइल की 250 किमी की रेंज भारत को यह क्षमता देती है कि वह दुश्मन के विमान को अपनी सीमा में दाखिल होने से पहले ही खत्म कर सके, चाहे खतरा चीन से हो या पाकिस्तान से.

भारत के लिए रणनीतिक मायने

  • दो मोर्चों पर बढ़त (चीन और पाकिस्तान): Sky Sting भारत को दोनों सीमाओं पर एक साथ जवाब देने की क्षमता देगी.
  • टेक्नोलॉजिकल क्वांटम लीप: यह मिसाइल भारत के तेजस और सु-30MKI को 6th जनरेशन हथियारों के स्तर पर ले जाएगी.
  • भारत–इज़राइल संबंध मजबूत: यह डील दोनों देशों की साझेदारी को और गहरा करेगी, जैसा पहले SPYDER SAM, Barak-8 और Heron ड्रोन के मामले में हुआ था.
  • पाकिस्तान की PL-15 को मात: पाकिस्तान के JF-17 Block III में लगी PL-15 मिसाइल की 145–200 किमी की रेंज अब Sky Sting के सामने छोटी साबित होगी.

अगर भारत इस प्रस्ताव को मंजूरी देता है तो आने वाले वर्षों में भारत की वायुसेना को एक ऐसी मिसाइल मिलेगी जो दुश्मन को रडार पर दिखने से पहले ही खत्म कर सकेगी. तेजस और SU-30MKI जैसे विमान Sky Sting से लैस होकर भारत की वायु सीमाओं की रक्षा में एक नया अध्याय लिखेंगे. 2027 तक भारत के पास ऐसी क्षमता होगी जिससे वह किसी भी दुश्मन के स्टेल्थ फाइटर जेट या लॉन्ग-रेंज एयर थ्रेट को मिनटों में ध्वस्त कर सकेगा.

इज़राइल की Sky Sting सिर्फ एक मिसाइल नहीं, बल्कि भारत की हवाई संप्रभुता का प्रतीक बन सकती है. यह डील भारत को चीन और पाकिस्तान दोनों पर तकनीकी बढ़त दिलाने के साथ-साथ भारत–इज़राइल रक्षा साझेदारी को नई ऊंचाई पर ले जाएगी. अगर सब कुछ तय समय पर हुआ, तो आने वाले वर्षों में भारत के तेजस और सुखाई-30MKI विमान इस घातक मिसाइल से लैस होंगे और तब भारत के आसमान में दुश्मन का टिकना नामुमकिन होगा.

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