माता-पिता से झगड़कर भागा तो तेंदुए ने ले ली जान, दिल दहला देगी पुणे की ये घटना
Leopard killed a 7-year-old boy: तेंदुए की हमले की यह घटना पुणे शहर से लगभग 75 किलोमीटर दूर शिरूर तालुका के मांडवगन फरता गांव में रात करीब 10 बजे घटी. जहां बच्चे की मौत हो चुकी है. इलाके में लोगों को सतर्क रहने की अपील की गई है.;
Leopard killed a 7-year-old boy: महाराष्ट्र के पुणे के कुछ इलाकों में तेंदुए का कहर समय-समय पर देखने को मिलता है. ऐसे में एक घटना सामने आ रही है, जिसमें 7 वर्षीय बच्चे की जान तेंदुए ने ले ली. ये सब तब हुआ जब लड़का अपने माता-पिता के झगड़ा होने के बाद घर से बाहर निकला ही था. इस साल मार्च से जुन्नार वन प्रभाग में मानव-तेंदुए संघर्ष की घटनाओं में यह आठवीं मौत है.
पीड़ित लड़का गुड़ उत्पादन इकाई में काम करने वाले प्रवासी मजदूर का बेटा है. यह घटना पुणे शहर से करीब 75 किलोमीटर दूर शिरुर तालुका के मांडवगन फरता गांव में रात करीब 10 बजे हुई. वन अधिकारियों ने बताया कि मृतक वंश राजकुमार सिंह का परिवार उत्तर प्रदेश के मुजफ्फरनगर से कुछ महीने पहले मांडवगन फरता में गुड़ उत्पादन इकाई वाघेश्वर गुल उद्योग में काम करने के लिए इस इलाके में आया था.
गन्ने के खेत में लड़का बना तेंदुए का शिकार
अधिकारियों ने बताया कि परिवार का घर गोकुलनगर दगड़वाड़ी रोड पर एक गन्ने के खेत के पास है. उप वन संरक्षक अमोल सातपुते ने कहा कि छानबीन से पता चला कि शुक्रवार रात लगभग 10 बजे लड़के के माता-पिता के बीच घरेलू मुद्दे पर झगड़ा हो रहा था. इसके बाद वंश घर छोड़कर गन्ने के खेत की ओर भाग गया था, जहां तेंदुए ने उसे शिकार समझ लिया और उस पर हमला कर दिया.'
छानबीन में सामने आया कि तेंदुए ने लड़के को 400 मीटर से अधिक दूर तक घसीटा और चोटें घातक साबित हुईं. इस हमले के बाद उसने दम तोड़ दिया. इसके बाद गुड़ उत्पादन इकाई के मालिक ने पुलिस और वन विभाग को सूचित किया. अधिकारी ने बताया कि उन्होंने इलाके में गश्त बढ़ा दी है और तेंदुए को ढूंढने के लिए 12 जाल पिंजरे, 9 कैमरा ट्रैप और ड्रोन कैमरे तैनात किए हैं.
लोगों को सतर्क रहने की अपील
कुकड़ी और घोड़ नदी के आसपास तेंदुओं की बड़ी संख्या को ध्यान में रखते हुए, जुन्नार वन विभाग बार-बार जुन्नार, शिरूर, अंबेगांव और खेड़ तालुका के निवासियों से कुछ सावधानियां बरतने की अपील की गई है. अधिकारियों का कहना है कि इन क्षेत्रों के निवासियों को प्रत्येक घर के आसपास और जहां संभव हो वहां खेतों में बहुत सारी चमकदार रोशनी लगानी चाहिए.
इसके साथ ही सड़क के दोनों किनारों पर और घरों और खेतों के आसपास घास को पूरी तरह से साफ करने, घर के अंदर शौचालय का उपयोग करने, सुबह होने से पहले बाहर निकलने से बचना चाहिए और जहां तक संभव हो सूर्यास्त के बाद, और यदि बाहर निकलना जरूरी हो तो टॉर्च और मजबूत छड़ी अपने साथ रखने की सलाह दी गई है.