हेल्थ से कोई समझौता नहीं! FSSAI ने एक्सपायरी और रिजेक्टेड फूड की मांगी लिस्ट, नहीं बिकेंगी ये चीजें
FSSAI: खाद्य सुरक्षा और अनुपालन प्रणाली (FOSCOS) रिपोर्टिंग फंक्शन अभी भी विकसित किया जा रहा है. इस बीच नियामक ने फूड बिजनेस करने वालों को आवश्यक डेटा कलेक्ट करने का आदेश दिया है.;
FSSAI: भारतीय खाद्य सुरक्षा एवं मानक प्राधिकरण (FSSAI) ने देश के सभी लाइसेंस होल्डर खाद्य निर्माताओं और सप्लायर्स को तिमाही आधार पर एक्सपायरी और रिजेक्टेड फूड का डेटा FOSCOS (ऑनलाइन अनुपालन प्रणाली) से देने का आदेश दिया है.
रिपोर्ट में कहा गया है कि इसका मुख्य उद्देश्य ह्यूमन कंजम्पशन के लिए ऐसे खाद्य पदार्थों की फिर से बिक्री पर निगरानी रखना और उसे रोकना है, जो कभी-कभी मवेशियों के चारे के लिए उपयोग किए जाते हैं. रिपोर्ट में कहा गया है कि नया नियम खाद्य पदार्थों को फिर से पैकिंग और लेवलिंग करने वालों पर भी लागू होगा.
FSSAI तीन क्षेत्रों से मांगी रिपोर्ट
FSSAI ने जिस डेटा की मांग की है, उनमें तीन मुख्य क्षेत्रों को शामिल किया जाना चाहिए, जिसमें आंतरिक गुणवत्ता परीक्षण में फेल होने वाले उत्पादों की मात्रा, फूड सप्लाई चैन से समाप्त हो चुके या वापस किए गए उत्पादों की मात्रा, साथ ही प्रोडक्ट डिस्पोजल के पूरी रिकॉर्ड शामिल हैं.
प्रोडक्ट डिस्पोजल के आंकड़ों में यह डेटा होना चाहिए कि यह कैसे किया जाता है, जिसमें डिस्ट्रक्शन, नीलामी या वैकल्पिक उपयोग शामिल है. इसके साथ ही समाप्त हो चुके या रिजेक्टेड फूट के खरीदारों के साथ-साथ वेस्ट डिस्पोजल एजेंसियों के बारे में जानकारी भी शामिल होनी चाहिए.
हालांकि, यह ऐसे समय में आया है जब FOSCOS का रिपोर्टिंग कार्य अभी भी विकसित किया जा रहा है. रिपोर्ट के मुताबिक, हालांकि यह आदेश अभी भी लागू है, लेकिन फूट व्यापारियों को डेटा कलेक्ट करना शुरू करना होगा, ताकि वो रिपोर्ट समय पर सबमिट कर सकें.
डिलीवरी पर लगाई रोक
FSSAI के आदेश में ये भी कहा गया कि जिन फूट की एक्पसायरी डेट 45 दिन से कम बची है. उनकी डिलीवरी पर पूरी तरह से रोक लगा दी जाए. इसे लेकर एफबीओ कंज्यूमर्स को निर्देश जारी किए गए हैं. कंज्यूमर्स के लिए सरकार ने ई-जागृति ऐप भी जारी किया है, जिस पर आप फूड संबंधी समस्याओं को लेकर शिकायत भी कर सकते हैं.