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4 दिन भी नहीं टिका पाक, चीनी जेट बेनकाब, 500km भीतर तक एयर स्ट्राइक... भारत ने पाकिस्तान को कैसे चटाई धूल, जो बना ऐतिहासिक?

India-Pakistan Tension: भारत और पाकिस्तान के बीच हालिया संघर्ष 'ऑपरेशन सिंदूर' कई मायनों में ऐतिहासिक रहा. यह पारंपरिक युद्ध से अलग था, जिसमें पहली बार भारत ने आधुनिक तकनीक और रणनीति का व्यापक स्तर पर प्रयोग किया. भारतीय सेना ने पाकिस्तान के भीतर 500 किमी तक गहरी एयरस्ट्राइक की. पाकिस्तान ने इस संघर्ष में चीनी J-सीरीज थंडर जेट और तुर्की-निर्मित ड्रोन का इस्तेमाल किया, जिससे उसके चीन और तुर्की से सैन्य गठजोड़ की सच्चाई भी सामने आई.

4 दिन भी नहीं टिका पाक, चीनी जेट बेनकाब, 500km भीतर तक एयर स्ट्राइक... भारत ने पाकिस्तान को कैसे चटाई धूल, जो बना ऐतिहासिक?
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India-Pakistan Tension
सचिन सिंह
Edited By: सचिन सिंह

Updated on: 12 May 2025 4:29 PM IST

India-Pakistan Tension: भारत-पाकिस्तान के बीच इस बार का जंग बिल्कुल अलग था, जिसने दुनियाभर को भारत का ताकत दिखाया, तो लड़ने के नए तरीके भी देखे गए. ऑपरेशन सिंदूर के तहत भारत-पाकिस्तान के बीच जंग में वॉरफेयर के कई तरीके पहली बार सामने आए. भारतीय सेना ने पहली बार पाकिस्तान के भीतर 500 किमी तक एयरस्ट्राइक की. इस हमले में तीनों सेना मुस्तैदी से खबर देती रही. जहां थल सेना ने बॉर्डर संभाला तो नौसेना लगातार सी-कवर देती रही.

पहले युद्ध में सेनाएं आमने-सामने होती थी. इस बार ड्रोन वार देखने को मिला... भरपूर मिसाइलों का इस्तेमाल किया गया. हालांकि, भारतीय डिफेंस सिस्टम में पाकिस्तान के हर मिसाइल और ड्रोन हमलों को तबाह कर दिया. इस जंग में पाकिस्तान को काफी नुकसान उठाना पड़ा... भारत ने न सिर्फ आतंकी ठिकानों को तबाह कर दिया, बल्कि आतंक को सुरक्षा कवर देने वाले पाकिस्तान के 8 सैन्य ठिकानों को भी बर्बाद कर दिया. इससे पाकिस्तान पर दबाव बनता गया और अंततः वह युद्ध विराम के लिए गिरगिराने लगा, जिसपर सहमती के बाद 10 मई की शाम 5 बजे लागू कर दिया गया.

भारत-पाकिस्तान के इस अनौपचारिक युद्ध में ऐसा जो पहली बार हुआ:

1. महज 4 दिनों में ही पाकिस्तान हुआ पस्त

पाकिस्तान पहले भी भारत से कई बार हार चुका है, लेकिन कई दिनों के युद्ध के बाद... लेकिन इस बार दोनों के देशों के बीच चला युद्ध पहली बार सबसे छोटा रहा. ये पहली बार है जब भारत ने इतनी छोटी (4 दिन) लड़ाई में पाकिस्तानी वायुसेना की रीढ़ तोड़ दी. इस दौरान पाक के 9 आतंकी ठिकाने, 11 सैन्य ठिकाने तबाह किए... ये भारत की बढ़ती ताकत को वर्ल्ड मैसेज भी है. 1965 की लड़ाई 49 दिन, 1971 की लड़ाई 13 दिन व करगिल युद्ध 85 दिन चला.

2. ड्रोन अटैक के जरिए 90% से अधिक सफल स्ट्राइक

भारत ने पहली बार ऑपरेशन सिंदूर में बड़ी संख्या में ड्रोन अटैक को अंजाम दिया. इस ऑपरेशन में देश में विकसित उन्नत युद्धक ड्रोन सिस्टम का इस्तेमाल किया गया, जिनमें प्रमुख रूप से नागास्त्र-1 (Nagastra-1) और स्काईस्ट्राइकर (SkyStriker) ड्रोन शामिल थे। ये दोनों ड्रोन ‘सेल्फ डिस्ट्रक्टिंग’ और ‘लोजिस्टिक अटैक वॉरफेयर’ श्रेणी में आते हैं, यानी ये दुश्मन के टारगेट पर जाकर स्वयं विस्फोट करते हैं और अधिकतम क्षति पहुंचाने की क्षमता रखते हैं.

3. पाकिस्तान के पंजाब में 24 साल बाद भारत का पहला हमला

भारत ने 1971 युद्ध के बाद पहली बार पाकिस्तान के पंजाब प्रांत में भीतर तक बड़ी स्ट्राइक की. इस कार्रवाई में पाकिस्तान की कई संवेदनशील और रणनीतिक रूप से अहम आर्मी लोकेशंस को निशाना बनाया गया है, जिनमें मुरीदके, रफीकी, सियालकोट और सुक्कर जैसे ठिकाने शामिल हैं. इसके अलावा, सरगोधा और जेकोबाबाद में स्थित प्रमुख सैन्य कैंटोनमेंट इलाकों में भी हलचल और दहशत देखी गई है.

4. पाकिस्कान ने चीनी जेट और तुर्की ड्रोन का किया इस्तेमाल

इस तनाव के बीच पाकिस्तान और चीन का नापाक गठजोड़ भी बेनकाब हो गया. पाकिस्तान ने पहली बार भारत के खिलाफ युद्ध में चीन से मिले जे-सीरीज के थंडर जेट का इस्तेमाल किया. यही नहीं, पाक ने चीन के रॉकेट लॉन्चर से गोले भी दागे. इसके साथ ही पाकिस्तान को मिला तुर्की का समर्थन भी सबके सामने आ गया. पाकिस्तान ने कई ऐसे ड्रोन दागे, जो तुर्की ने बनाए थे, लेकिन इनमें सबसे बड़ी बात है कि पाकिस्तान और चीन की मिलीभगत दुनिया के सामने आ गई... अप्रत्यक्ष तौर पर पाकिस्तान में आतंक को चीन मदद कर रहा है, ताकि भारत को कमजोर किया जा सके... जिसका जवाब इस बार पाक-चीन को मिल गया है.

भारत और पाकिस्तान बॉर्डर पर क्या है मौजूदा स्थिति?

युद्ध विराम के दूसरे दिन भारतीय सेना ने आज सुबह यानी कि 12 मई को कहा कि भारत और पाकिस्तान के बीच युद्ध विराम पर सहमति बनने के दो दिन से भी कम समय बाद जम्मू-कश्मीर और अंतर्राष्ट्रीय सीमा से लगे अन्य क्षेत्रों में रात अधिकतर शांतिपूर्ण रही.

भारत और पाकिस्तान के बीच शनिवार शाम 5 बजे से ज़मीन, हवा और समुद्र पर सभी तरह की गोलीबारी और सैन्य कार्रवाइयों को तत्काल प्रभाव से रोकने पर सहमति बनी. हालांकि, कुछ घंटों बाद ही श्रीनगर और गुजरात के कुछ हिस्सों समेत जम्मू-कश्मीर के कई इलाकों में ड्रोन देखे गए और उन्हें रोका गया... लेकिन उसके बाद से शांति की स्थिति बनी हुई है.

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