जब अफगानी बन बैठा मराठी मानुष! सवालों में उलझा तो दिल्‍ली एयरपोर्ट पर ऐसे खुली पोल

दिल्ली के आईजीआई एयरपोर्ट पर एक यात्री की असली पहचान उस समय उजागर हो गई जब वह महाराष्ट्र से जुड़े पांच साधारण सवालों का जवाब नहीं दे पाया. पासपोर्ट में उसे नवी मुंबई निवासी बताया गया था, लेकिन जांच में पता चला कि वह अफगान नागरिक है, जिसने अवैध तरीके से भारतीय पासपोर्ट हासिल किया. इमिग्रेशन अधिकारियों की सतर्कता से फर्जी पहचान का यह मामला सामने आया और यात्री को पुलिस के हवाले कर दिया गया.;

( Image Source:  ANI )
Edited By :  प्रवीण सिंह
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इंदिरा गांधी अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे (IGI Airport) पर एक ऐसा मामला सामने आया जिसने न सिर्फ सुरक्षा एजेंसियों को सतर्क कर दिया बल्कि फर्जी पहचान और पासपोर्ट घोटाले के खतरनाक पहलुओं को भी उजागर कर दिया. यहां अफगानिस्तान जाने वाले एक यात्री को तब पकड़ लिया गया जब वह महाराष्ट्र से जुड़े बुनियादी सवालों का जवाब नहीं दे पाया.

मामला IGI एयरपोर्ट का है, जहां शनिवार को काबुल जाने वाली कम एयर (Kam Air) की फ्लाइट RQ-4402 में सवार होने के लिए एक यात्री पहुंचा. उसका नाम पासपोर्ट पर मोहम्मद रसूल नजीब खान दर्ज था और दस्तावेज़ के मुताबिक उसका स्थायी पता नवी मुंबई, महाराष्ट्र बताया गया था. जन्म स्थान के कॉलम में भी मुंबई लिखा हुआ था.

यात्री ने चेक-इन की औपचारिकताएं पूरी कीं और फिर इमिग्रेशन डेस्क पर दस्तावेज़ जांच के लिए पहुंचा. यहीं से उसकी असली पहचान की पोल खुलनी शुरू हो गई.

मुंह खोला तो बढ़ा शक

इमिग्रेशन अधिकारी के अनुसार, जैसे ही वह व्यक्ति बोला, उसके लहजे ने शक पैदा कर दिया. उसके उच्चारण में न तो मुंबई की झलक थी और न ही मराठी भाषा का कोई असर. आम तौर पर मुंबई और आसपास रहने वाले लोगों के बोलने में कुछ खासियतें होती हैं, लेकिन उस व्यक्ति में ऐसी कोई पहचान नहीं दिखी. संदेह पुख्ता करने के लिए इमिग्रेशन अधिकारी ने उससे महाराष्ट्र से जुड़े सामान्य सवाल पूछने शुरू किए.

महाराष्ट्र पर 5 सवाल, और सब में फेल

अधिकारी ने उससे बेहद बुनियादी प्रश्न पूछे, जैसे...

  • महाराष्ट्र की राजधानी क्या है?
  • मुंबई में प्रसिद्ध समुद्र तट का नाम बताओ,
  • गणपति उत्सव किस राज्य में धूमधाम से मनाया जाता है?
  • मुंबई का सबसे मशहूर क्रिकेट स्टेडियम कौन सा है?
  • पुणे किसके लिए जाना जाता है?

लेकिन यात्री इनमें से किसी का भी जवाब नहीं दे पाया. उसकी चुप्पी और हिचकिचाहट ने अधिकारियों के शक को पुख्ता कर दिया.

निकला अफगान नागरिक

आगे की गहन पूछताछ में जो सामने आया, उसने सुरक्षा एजेंसियों की चिंता और बढ़ा दी. जांच में पता चला कि यह व्यक्ति दरअसल महाराष्ट्र या भारत का निवासी है ही नहीं, बल्कि अफगानिस्तान का रहने वाला है. उसने भारतीय पासपोर्ट अवैध तरीके से हासिल किया था और इसमें मुंबई का पता और जन्मस्थान दर्ज करवाया गया था.

फर्जी पासपोर्ट की साजिश

यह घटना इस बात का बड़ा उदाहरण है कि फर्जी दस्तावेज़ और जाली पहचान के जरिए अंतरराष्ट्रीय स्तर पर आवाजाही कितनी खतरनाक हो सकती है. इस मामले में यात्री ने कैसे पासपोर्ट बनवाया, किस स्तर पर फर्जी दस्तावेज़ों का इस्तेमाल हुआ और किन लोगों की मिलीभगत रही, यह अब जांच का विषय है. IGI एयरपोर्ट के एक वरिष्ठ सुरक्षा अधिकारी ने बताया कि ऐसे मामलों से राष्ट्रीय सुरक्षा को गहरा खतरा होता है. अगर यह व्यक्ति बिना पकड़े बाहर चला जाता, तो भविष्य में किसी भी तरह की आपराधिक या आतंकी गतिविधि में उसका इस्तेमाल हो सकता था.

पुलिस के हवाले किया गया

इमिग्रेशन अधिकारियों ने तत्काल कार्रवाई करते हुए यात्री को हिरासत में ले लिया और फिर आगे की जांच के लिए IGI एयरपोर्ट पुलिस को सौंप दिया. पुलिस अब यह पता लगाने में जुटी है कि इस अफगान नागरिक ने किस नेटवर्क की मदद से भारतीय पासपोर्ट हासिल किया और वह काबुल क्यों जा रहा था.

सुरक्षा एजेंसियों की बढ़ी चिंता

इस तरह के मामलों ने पहले भी भारत की सुरक्षा एजेंसियों की नींद उड़ाई है. फर्जी पासपोर्ट के जरिए भारत में घुसपैठ या बाहर निकलने की कोशिशें कई बार पकड़ी जा चुकी हैं. खासकर अंतरराष्ट्रीय उड़ानों के दौरान इमिग्रेशन डेस्क पर सतर्कता के बावजूद अपराधी तरह-तरह के हथकंडे अपनाते हैं.

दिल्ली एयरपोर्ट पर पकड़े गए इस यात्री का मामला यह साफ करता है कि सतर्कता की एक छोटी सी कोशिश भी बड़े खतरे को टाल सकती है. इमिग्रेशन अधिकारियों की सूझबूझ से न केवल एक फर्जी पासपोर्टधारी पकड़ा गया बल्कि एक संभावित सुरक्षा खतरे को भी समय रहते रोक लिया गया.

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