दिवाली से पहले रेल कर्मचारियों को PM मोदी का बड़ा तोहफा, पांच भाषाओं का दिया दर्जा
मोदी सरकार ने गुरुवार को मराठी और बंगाली सहित पांच भारतीय भाषाओं को शास्त्रीय भाषा का दर्जा देने का फैसला किया है. इन भाषाओं में मराठी, बंगाली, पाली, पाकृत और असमिया शामिल हैं. यह जानकारी और प्रसारण मंत्री अश्विनी वैष्णव ने एक मीडिया ब्रीफिंग में दी. यह निर्णय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में हुई केंद्रीय मंत्रिमंडल की बैठक में लिया गया.;
Bonus For Railway Employees: प्रधानमंत्री मोदी की अगुवाई में हुई मंत्रिमंडल की बैठक में कई महत्वपूर्ण फैसले लिए गए, जिनमें से एक रेल कर्मचारियों से संबंधित है. केंद्रीय रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने एक प्रेस वार्ता के दौरान बताया कि रेल कर्मचारियों को 78 दिनों का दीवाली बोनस दिया जाएगा. यह बोनस उत्पादकता से जुड़े कर्मचारियों को मिलेगा, और सरकार इस बोनस के रूप में कुल 2029 करोड़ रुपये जारी करेगी.
मोदी सरकार ने बीते दिन गुरुवार को मराठी और बंगाली सहित पांच और भारतीय भाषाओं को शास्त्रीय भाषा का टैग प्रदान किया है. जिन पांच और भाषाओं को शास्त्रीय भाषाओं के रूप में मान्यता दी गई है वे हैं मराठी, बंगाली. पाली, पाकृत और असमिया, जानकारी और प्रसारण मंत्री अश्विनी वैष्णव ने गुरुवार को एक मीडिया ब्रीफिंग में इस फैसले की घोषणा की. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में हुई केंद्रीय मंत्रिमंडल की बैठक में यह फैसला लिया गया.
पीएम मोदी ने ट्वीट करते हुए लिखा कि हमारी सरकार भारत के समृद्ध इतिहास और संस्कृति को संजोती है और उसका जश्न मनाती है। हम क्षेत्रीय भाषाओं को लोकप्रिय बनाने की अपनी प्रतिबद्धता में भी अटल रहे हैं. मुझे बेहद खुशी है कि कैबिनेट ने फैसला किया है कि असमिया, बंगाली, मराठी, पाली और प्राकृत को शास्त्रीय भाषाओं का दर्जा दिया जाएगा! उनमें से प्रत्येक सुंदर भाषा है, जो हमारी जीवंत विविधता को उजागर करती है. सभी को बधाई.
छठे वेतन आयोग के अनुसार न्यूनतम वेतन 7000 है यानी 78 दिन का बोनस करीब 18 हजार रुपये है. वहीं साल 2023 में 7वें वेतन आयोग के मुताबिक न्यूनतम वेतन 18000 कर दिया गया था. साल 2022 में सरकार ने कुल मिलाकर 1832 करोड़ रुपये का दीवाली बोनस बांटा था. रेलवे द्वारा दी गई जानकारी के मुताबिक 11 लाख से ज्यादा कर्मचारियों को 78 दिन के लिए 17951 रुपये का दीवाली बोनस दिया था.
हालांकि बोनस का सीधा संबंध प्रदर्शन से है ऐसे में सरकार कोई भी फैसला लेने से पहले रेलवे की कमाई और खर्चो पर नजर रखेगी जिसके आधार पर ही फैसला लिया जाएगा. सरकारी दफ्तरों में काम करने वाले कर्मचारियों को भी बोनस मिलेगा, हालांकि उनके लिए अधिकतम सीमा 1,200 रुपये है. बोनस की मंजूरी दीवाली के त्योहार से पहले की जाती है, जिसमें आमतौर पर उपभोक्ता खर्च में बढ़ोतरी देखी जाती है.