अब यादों में मनमोहन... सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे पूर्व PM के ये वीडियो
पूर्व प्रधानमंत्री डॉ. मनमोहन सिंह का निधन 92 साल की उम्र में हुआ, और उनके निधन के बाद सोशल मीडिया पर उनके कई भावुक वीडियो वायरल हो रहे हैं. इन वीडियो में उनकी मुलायम शैली और विनम्र व्यक्तित्व को देखकर लोग उन्हें श्रद्धांजलि दे रहे हैं.;
भारत के पूर्व प्रधानमंत्री डॉ. मनमोहन सिंह का 92 साल की उम्र में गुरुवार को निधन हो गया. वह लंबे समय से बीमार चल रहे थे और उन्हें सांस लेने में परेशानी हो रही थी. जिसके बाद उन्हें दिल्ली के AIIMS अस्पताल में भर्ती कराया गया था. उनका अंतिम संस्कार शनिवार को होगा. उनके निधन पर भारत सरकार ने सात दिन के राष्ट्रीय शोक की घोषणा की है.
मनमोहन सिंह 2004 से 2014 तक भारत के प्रधानमंत्री रहे और उनके कार्यकाल को भारतीय राजनीति में महत्वपूर्ण माना जाता है. पूर्व प्रधानमंत्री के निधन के बाद उनके कई भावुक वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे हैं, जिसमें वह सदन में तीखी बहस के दौरान अपनी भावनाओं का इज़हार करते हुए दिखाई दे रहे हैं.
डॉ मनमोहन सिंह निधन के बाद उनके प्रधानमंत्री के रूप में आखिरी भाषण सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है. जिसमें उन्होंने कहा कि ‘भारत दिखाएगा दुनिया को रास्ता..’, भावुक कर देगा पूर्व पीएम मनमोहन सिंह का प्रधानमंत्री के रूप में आखिरी भाषण.
2014 में भाजपा की सरकार बनने के बाद डॉ. मनमोहन सिंह सार्वजनिक जीवन में कम ही दिखाई पड़ते थे. बीते कुछ दिन पहले पीएम मोदी ने उनकी तारीफ की थी. आखिरी कुछ दिनों में वोटिंग का एक मौका था. पचा था कि विजय ट्रेजरी बेंच की होने वाली है. अंतर भी बहुत था लेकिन डॉ. मनमोहन सिंह जी व्हीलचेयर पर आए और वोट किया. जिसका वीडियो सोशल मीडिया पर खूब वायरल हो रहा है.
डॉ. मनमोहन सिंह अपने शांत स्वभाव और विनम्रता के लिए प्रसिद्ध थे, लेकिन जब बात संसद की बहस की होती थी, तो वह भी जवाब देने में पीछे नहीं रहते थे. एक ऐतिहासिक घटना तब घटी थी जब भाजपा की वरिष्ठ नेता सुषमा स्वराज और डॉ. मनमोहन सिंह के बीच शेरो-शायरी की अदला-बदली हुई थी.
1991 में भारत के सामने एक गंभीर आर्थिक संकट था, जिसके कारण डॉ. मनमोहन सिंह को एक कठिन फैसले लेने पड़े. यह घटना भारत के सोने को गिरवी रखने और इंटरनेशनल मॉनिटरी फंड (IMF) से लोन लेने से जुड़ी हुई थी, जिसे भारत की आर्थिक नीतियों में एक ऐतिहासिक मोड़ माना जाता है. भारत को 300 करोड़ डॉलर का कर्ज मिला. इस कर्ज का उपयोग भारत ने विदेशी मुद्रा भंडार को बढ़ाने और विदेशी कर्जों की चुकौती के लिए किया. इसके बदले में भारत को IMF से करीब 300 करोड़ डॉलर का कर्ज प्राप्त हुआ, जो तब के समय में महत्वपूर्ण था.
ऐसा ही एक दूसरा किस्सा 27 अगस्त, 2012 का है जब संसद का सत्र चल रहा था. मनमोहन सरकार पर कोयला ब्लॉक आवंटन में भ्रष्टाचार का आरोप लगा था. तब मनमोहन सिंह ने कहा कि कोयला ब्लाक आवंटन को लेकर कैग की रिपोर्ट में अनियमितताओं के जो आरोप लगाए गए हैं वे तथ्यों पर आधारित नहीं हैं और सरासर बेबुनियाद हैं. उन्होंने लोकसभा में बयान देने के बाद संसद भवन के बाहर मीडिया में भी बयान दिया. उन्होंने उनकी 'खामोशी' पर ताना कहने वालों को जवाब देते हुए शेर पढ़ा, ''हजारों जवाबों से अच्छी है मेरी खामोशी, न जाने कितने सवालों की आबरू रखी.'