Yashoda AI: नारी सशक्तिकरण की डिजिटल क्रांति, अब हर महिला के हाथ में होगी टेक्नोलॉजी की ताकत
यशोदा एआई सिर्फ आज के लिए नहीं भविष्य के भारत की तैयारी है. जब 2047 में भारत को 100 साल पूरे हो जाएंगे, तब देश की हर महिला डिजिटल रूप से सशक्त, आत्मनिर्भर और समाज में बदलाव लाने वाली एक सशक्त नायिका होगी.;
22 मई 2025 को एक खास दिन था. बरेली की रुहेलखंड यूनिवर्सिटी के ऑडिटोरियम में दोपहर 12 बजे माहौल कुछ अलग था. महिलाओं की भीड़, उत्साह से भरे चेहरे और मंच पर मौजूद थीं राष्ट्रीय महिला आयोग की अध्यक्ष विजया किशोर रहाटकर. उन्होंने एक ऐसे अभियान की शुरुआत की, जो भारत की लाखों महिलाओं की जिंदगी बदलने वाला है. इस अभियान का नाम यशोदा एआई है, जो प्रधानमंत्री मोदी की मां के नाम पर रखा गया है.
इस अभियान का एक खास मकसद रूरल और अर्बन एरिया की महिलाओं के बीच की टेक्नोलॉजी की दूरी को मिटाना है. अब गांव की महिलाएं भी उतनी ही टेक्नोलॉजी समझेंगी जितनी शहर की महिलाएं.
क्या है यशोदा एआई?
यशोदा एआई" का पूरा नाम Your AI Sakhi for Shaping Horizons with Digital अवेयरनेस है. यानी आपकी एआई सखी, जो आपको डिजिटल दुनिया की समझ देकर एक नया भविष्य बनाने में मदद करेगी. यह एक मोबाइल ऐप और डिजिटल ट्रेनिंग प्लेटफॉर्म है, जिसे राष्ट्रीय महिला आयोग ने फ्यूचर शिफ्ट लैब्स के साथ मिलकर तैयार किया है. इसका मकसद महिलाओं को आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस, डिजिटल टूल्स, और साइबर सुरक्षा की जानकारी देना है.
कौन हैं ये AI सखी?
AI सखी यानी वो महिलाएं जो खुद डिजिटल रूप से सशक्त हों और दूसरों को भी सिखा सकें. यशोदा एआई सिर्फ एक ऐप नहीं, बल्कि एक आंदोलन है, जिसके जरिए हर महिला को डिजिटल ज्ञान देना और उन्हें आत्मनिर्भर बनाना है.
500 वर्कशॉप्स, 1 करोड़ महिलाएं
इस अभियान के तहत पूरे देश में 500 से ज्यादा वर्कशॉप्स कराई जाएंगी. स्कूल, कॉलेज, आशा कार्यकर्ता, SHG ग्रुप्स, पंचायत सदस्य और सरकारी कर्मचारी सभी को इस अभियान से जोड़ा जाएगा. पहले फेज में 2 लाख से अधिक महिलाओं को ट्रेनिंग देने का लक्ष्य है. पूरे अभियान के दौरान करीब 1 करोड़ महिलाओं तक पहुंचने की योजना है.
क्या मिलेगा इस ऐप में?
महिलाएं अपनी स्थानीय भाषा में सीख सकेंगी, ताकि हर स्तर की महिला तक ज्ञान पहुंचे. वीडियो और छोटे-छोटे पाठ जो मजेदार और आसान हों, ताकि कोई भी महिला टेक्नोलॉजी से न डरे. कैसे फेक कॉल से बचें, पासवर्ड कैसे बनाएं और ऑनलाइन धोखाधड़ी से कैसे बचें. ये सब इस ऐप में सिखाया जाएगा. महिलाएं सीखेंगी कि चैटबॉट्स, फोटो टूल्स, और लैंग्वेज मॉडल जैसे AI टूल्स का कैसे इस्तेमाल करें. कोर्स पूरा करने पर हर महिला को डिजिटल सर्टिफिकेट भी मिलेगा.
डिजिटल इंडिया की नई नायिकाएं
इस अभियान के साथ हम देखेंगे कि कैसे महिलाएं सिर्फ फोन इस्तेमाल करना नहीं, बल्कि टेक्नोलॉजी से खुद का और दूसरों का भविष्य बनाना सीखेंगी. वे नौकरी करेंगी, दूसरों को सिखाएंगी और जब कोई साइबर क्राइम हो तो खुद उसकी पहचान करके उससे बच सकेंगी.