Mayday Mayday Mayday! क्या होता है मतलब- क्यों Air India के पायलट ने ऐसा कहा?
एयर इंडिया की फ्लाइट 171, जो अहमदाबाद से लंदन जा रही थी, ने टेक-ऑफ के तुरंत बाद ATC को MAYDAY कॉल भेजा, लेकिन इसके बाद कोई प्रतिक्रिया नहीं मिली. MAYDAY कॉल अंतरराष्ट्रीय स्तर पर मान्यता प्राप्त आपातकालीन सिग्नल होता है, जो तब दिया जाता है जब विमान गंभीर संकट में हो. इसका उपयोग इंजन फेल होने, तकनीकी खराबी या मेडिकल इमरजेंसी जैसी स्थितियों में किया जाता है. DGCA ने पुष्टि की कि कॉल मिलने के बाद विमान से कोई संपर्क नहीं हो पाया.;
What is MAYDAY Call: एयर इंडिया का B787 विमान VT-ANB गुजरात के अहमदाबाद से लंदन के गैटविक के लिए उड़ान भरने के तुरंत बाद क्रैश हो गया. इस विमान में 242 लोग सवार थे, जिनमें 2 पायलट और 10 केबिन क्रू शामिल थे. विमान के पायलट ने टेक-ऑफ के कुछ ही सेकंड बाद एयर ट्रैफिक कंट्रोल (ATC) को 'मेडे' (MAYDAY) कॉल भेजा था. इसके बाद ATC द्वारा किए गए कई प्रयासों के बावजूद विमान से कोई प्रतिक्रिया नहीं मिली. यह जानकारी नागरिक उड्डयन महानिदेशालय (DGCA) के एक आधिकारिक बयान में दी गई है.
बताया जाता है कि विमान की कमान कैप्टन सुमित सभरवाल संभाल रहे थे. उनके साथ फर्स्ट ऑफिसर क्लाइव कुंदर थे. विमान में सवाल 242 लोगों में से 169 भारतीय, 53 ब्रिटिश, 1 कनाडाई और 7 पुर्तगाली नागरिक हैं.
आखिर क्या होता है 'मेडे कॉल' जो विमान ने क्रैश से ठीक पहले दिया?
'मेडे' (MAYDAY) कॉल विमानन शब्दावली में एक अंतरराष्ट्रीय स्तर पर मान्यता प्राप्त इमरजेंसी सिग्नल होता है. इसका उपयोग उस स्थिति में किया जाता है जब विमान किसी गंभीर खतरे में होता है और तत्काल मदद की जरूरत होती है. यह एविएशन में सबसे गंभीर और उच्च स्तर का डिस्ट्रेस सिग्नल होता है.
MAYDAY क्या है?
MAYDAY शब्द की उत्पत्ति फ्रेंच शब्द “m’aider” से हुई है, जिसका मतलब होता है- मेरी मदद करो (Help me). एक MAYDAY कॉल आमतौर पर रेडियो कम्युनिकेशन के माध्यम से ATC (एयर ट्रैफिक कंट्रोल) या आस-पास उड़ रहे अन्य विमानों को भेजा जाता है. इसका मकसद होता है कि विमान को तुरंत प्राथमिकता दी जाए और उसकी स्थिति को संभालने के लिए त्वरित कदम उठाए जाएं.
कब दी जाती है MAYDAY कॉल?
- इंजन फेल हो जाना
- गंभीर मौसम में फंस जाना
- विमान की संरचनात्मक खराबी
- फ्लाइट में कोई बड़ा मेडिकल इमरजेंसी
जब कोई MAYDAY कॉल मिलता है, तो ATC और अन्य संबंधित एजेंसियां तुरंत रेस्क्यू ऑपरेशन को प्राथमिकता देती हैं और सभी आवश्यक सहायता उपलब्ध कराने की कोशिश करती हैं, ताकि संकट में फंसे विमान को सुरक्षित लैंडिंग या मदद मिल सके।